गणेश चतुर्थी का महत्व(Ganesh Chaturthi se Anant Chaturdashi 2024)
गणेश चतुर्थी, भारतीय धर्म और संस्कृति में एक महत्वपूर्ण त्योहार है जो भगवान गणेश के प्रति भक्ति और समर्पण का प्रतीक है। यह त्योहार भगवान गणेश को समर्पित है और भारत के विभिन्न हिस्सों में धूमधाम से मनाया जाता है। इस पावन त्योहार को हिन्दू कैलेंडर के अनुसार भाद्रपद मास के शुक्ल पक्ष की चतुर्थी को मनाया जाता है, जिसे भगवान गणेश के जन्म के रूप में मनाया जाता है। गणेश चतुर्थी को “विनायक चतुर्थी” भी कहा जाता है। गणेश चतुर्थी को मूर्ति स्थापित और 10 दिन की पूजा के बाद अनंत चतुर्दशी को भगवान विष्णु की पूजा के बाद मूर्ति विसर्जन करते है। आइए जानते है पूरी जानकारी Ganesh Chaturthi se Anant Chaturdashi 2024 तक के 10 दिन :-
- गणेश चतुर्थी का महत्व(Ganesh Chaturthi se Anant Chaturdashi 2024)
- गणेश/अनंत चतुर्दशी 2024 (Ganesh/Anant Chaturdashi 2024)
- गणपति मूर्ति स्थापना और पूजन विधि(Ganpati Idol Installation and Worship Method)
- गणपति विसर्जन प्रक्रिया(Ganpati Immersion Process)
- गणेश/अनंत चतुर्दशी कैसे मानते है?(How to celebrate Ganesh/Anant Chaturdashi?)
- गणेश/अनंत चतुर्दशी कितने दिन तक मनाया जाता है?(For how many days is Ganesh/Anant Chaturdashi celebrated?)
- भारत में मनाए जाने वाले अन्य त्यौहार(Other Festivals Celebrated in India)
- FAQ:
गणेश चतुर्थी या स्थापना दिवस : दिन शनिवार , 07 सितम्बर 2024
अनंत चतुर्दशी या विसर्जन : दिन मंगलवार, 17 सितंबर 2024
गणेश/अनंत चतुर्दशी 2024 (Ganesh/Anant Chaturdashi 2024)
गणेश अनंत चतुर्दशी या विसर्जन तिथि
इस वर्ष गणेश चतुर्दशी गुरुवार 17 सितंबर को मनाई जायगी।
गणपति विसर्जन का शुभ मुहूर्त
इस वर्ष 17 सितंबर 2024 को अनंत चतुर्दशी वाले दिन गणपति विसर्जन के चार शुभ मुहूर्त हैं। इस दिन पहला शुभ मुहूर्त सुबह 09 बजकर 11 मिनट से दोहपर 01 बजकर 47 मिनट तक होगा और दूसरा शुभ मुहूर्त दोहपर 03 बजकर 19 मिनट से शाम 04 बजकर 51 मिनट तक तथा तीसरा शुभ मुहूर्त शाम 07 बजकर 51 मिनट से रात 09 बजकर 19 मिनट तक और चौथा मुहूर्त रात 10 बजकर 47 मिनट से रात 03 बजकर 12 मिनट तक होगा।
गणेश चतुर्थी | शनिवार, 07 सितम्बर 2024 |
गणेश मूर्ति विसर्जन | मंगलवार, 17 सितंबर 2024 |
विसर्जन शुभ मुहूर्त | 09:11 ए एम से 01:47 पी एम |
विसर्जन शुभ मुहूर्त | 03:19 पी एम से 04:51 पी एम |
विसर्जन शुभ मुहूर्त | 07:51 पी एम से 09:19 पी एम |
विसर्जन शुभ मुहूर्त | 10:47 पी एम से 03:12 ए एम, सितम्बर 18 |
गणपति मूर्ति स्थापना और पूजन विधि(Ganpati Idol Installation and Worship Method)
मूर्ति स्थापना
गणेश चतुर्थी के दिन भगवान गणेश की पूजा और स्थापना की जाती है। लोग अपने घरों में गणेश जी की मूर्ति स्थापित करते हैं। इससे सृष्टि के आदिदेवता और विघ्नहर्ता, गणपति प्रकट होते हैं। यह त्योहार 10 दिन तक चलता है।
गणपति पूजन सामग्री
- गणेश मूर्ति या प्रतिमा
- पूजन के लिए फूल
- दीपक (घी के साथ)
- धूप और धूपदनी
- दूर्वा (दर्भ) की माला
- सिन्दूर
- केसर
- गंगाजल (जल का कलश)
- अक्षत (राइस)
- फल (जैसे केला, सीब)
गणपति स्थापना और पूजन विधि
पूजा के लिए सबसे पहले घर और मंदिर की सफाई करें और स्नान करके शुद्ध वस्त्र पहने फिर पूजा के लिए पूर्व दिशा की ओर मुख करके शुद्ध आसन पर बैठें। मूर्ति स्थापना के लिए गणेश भगवन की मूर्ति को पूजन स्थल पर स्थापित करें फिर मूर्ति की पूर्व दिशा में कलश में गंगाजल भरकर रखें। इसके बाद गणेश भगवन की मूर्ति को पंचामृत से स्नान कराएं (दूध, दही, घी, शहद, गंगाजल) और मूर्ति को लाल वस्त्र से ढकें।
फिर मूर्ति पर सिन्दूर और केसर लगाएं। और गणेश जी को दीपक के साथ धूप और धूपदनी से पूजें और फूलों को चढ़ाएं और दूर्वा की माला से मंत्र जपें और गणेश भगवन की मूर्ति को प्रसाद चढ़ाएं इसके बाद आरती गाएं और मूर्ति को प्रणाम करके अपनी मनोकामनाएं मांगें और भगवान गणेश से आशीर्वाद प्राप्त करें और पूजन के बाद, प्रसाद को परिवार और दोस्तों सहित सभी को खिलाएं।
गणपति विसर्जन प्रक्रिया(Ganpati Immersion Process)
गणेश चतुर्थी के 10वें दिन गणपति विसर्जन प्रक्रिया होती है। इस दिन लोग अपने घरों में स्थापित गणेश जी की मूर्ति को मन्दिर तक ले जाते हैं और उन्हें विदाई देते हैं। यह विसर्जन जल या स्थल दोनों में हो सकता है। जल विसर्जन में गणेश जी को जल में स्थानांतरित करके विसर्जित किया जाता है, जबकि स्थल विसर्जन में उन्हें खुदाई की बराबर मिट्टी में दफनाया जाता है। यह प्रक्रिया पूरे धूमधाम के साथ की जाती है और सभी लोग गणपति बाप्पा को विदाई देने के लिए एक साथ उत्साह से जमा होते हैं।
गणेश/अनंत चतुर्दशी कैसे मानते है?(How to celebrate Ganesh/Anant Chaturdashi?)
गणेश चतुर्दशी के त्योहार को मनाने के कई तरीके होते हैं। यहां हम कुछ महत्वपूर्ण कदम बता रहे हैं
गणेश भगवन की मूर्ति की खरीददारी
पहला कदम होता है भगवान गणेश की मूर्ति की खरीददारी करना। आप बाजार से या ऑनलाइन विशेषज्ञों से गणेश की मूर्ति की खरीददारी कर सकते हैं। मूर्ति की चयन में ध्यानपूर्वक होना चाहिए और यह आपके घर के वास्तुशास्त्र के अनुसार होनी चाहिए।
मंगलमय दिखाने के लिए सजाना
गणेश चतुर्दशी के दिन अपने घर को मंगलमय दिखाने के लिए खास तौर से तैयारी की जाती है। आप अपने घर की प्रारंभिक सफाई कर सकते हैं और उसे फूलों, धवज़ों, और आभूषणों से सजा सकते हैं।
पूजा और आरती
गणेश चतुर्दशी के दिन भगवान गणेश की पूजा और आरती करना अत्यंत महत्वपूर्ण है। आप पूजा के लिए धूप, दीप, फल, मिश्री, और पूजा सामग्री की आवश्यकता होती है। इसके साथ ही, आप विशेष प्रासाद भी बना सकते हैं ।
व्रत और उपवास
कुछ लोग गणेश चतुर्दशी के दिन व्रत रखते हैं और उपवास करते हैं। यह उनके आदर्श और धार्मिक निष्ठा का प्रतीक होता है।
गणपति विसर्जन
गणेश चतुर्दशी का त्योहार धूमधाम से मनाने के बाद, भगवान गणेश की मूर्ति को विसर्जन के लिए तैयार किया जाता है। लोग अपने घरों में बनाई गई मूर्ति को स्थान से हटाकर नदी या समुद्र में ले जाते हैं और उसे विसर्जित करते हैं।
गणेश/अनंत चतुर्दशी कितने दिन तक मनाया जाता है?(For how many days is Ganesh/Anant Chaturdashi celebrated?)
गणेश चतुर्दशी का त्यौहार 10 दिन तक मनाया जाता है यह त्यौहार गणेश चतुर्थी से गणेश चतुर्दशी तक मनाया जाता है। गणेश चतुर्थी हिन्दू पंचांग के आधार पर भाद्रपद मास के शुक्ल पक्ष की चतुर्थी तिथि को मनाई जाता है। और गणेश चतुर्दशी हिन्दू पंचांग के आधार पर भाद्रपद मास के शुक्ल पक्ष की चतुर्दशी” यानी चौदह तिथि को मनाया जाती है। इसके बीच में 10 दिनों तक लोग गणपति बाप्पा की पूजा करते हैं और उपवास रखते हैं।
भारत में मनाए जाने वाले अन्य त्यौहार(Other Festivals Celebrated in India)
त्यौहारो के नाम | दिन | तिथि |
मकर संक्रांति | रविवार | 14 जनवरी |
वसंत पंचमी | बुधवार | 14 फरवरी |
होली | रविवार | 24 मार्च |
रमज़ान ईद/ईद-उल-फितर | गुरुवार | 11 अप्रैल |
बैसाखी | शनिवार | 13 अप्रैल |
मुहर्रम/आशूरा | बुधवार | 17 जुलाई |
रक्षा बंधन (राखी) | सोमवार | 19 अगस्त |
विनायक चतुर्थी | शनिवार | 07 सितम्बर |
ओणम | रविवार | 15 सितम्बर |
जन्माष्टमी | सोमवार | 26 अगस्त |
दुर्गा अष्टमी | शुक्रवार | 11 अक्टूबर |
दशहरा | शनिवार | 12 अक्टूबर |
दिवाली/दीपावली | शुक्रवार | 01 नवंबर |
भाई दूज | शनिवार | 02 नवंबर |
क्रिसमस | बुधवार | 25 दिसंबर |
FAQ:
प्रश्न: गणेश चतुर्दशी कब है?
उत्तर: गणेश चतुर्दशी इस वर्ष गणेश चतुर्दशी मंगलवार 17 सितम्बर को मनाई जायगी।
प्रश्न: गणपति विसर्जन का शुभ मुहूर्त कब से कब तक है?
उत्तर: इस वर्ष 17 सितंबर 2024 को अनंत चतुर्दशी वाले दिन गणपति विसर्जन के चार शुभ मुहूर्त हैं। इस दिन पहला शुभ मुहूर्त सुबह 09 बजकर 11 मिनट से दोहपर 01 बजकर 47 मिनट तक होगा और दूसरा शुभ मुहूर्त दोहपर 03 बजकर 19 मिनट से शाम 04 बजकर 51 मिनट तक तथा तीसरा शुभ मुहूर्त शाम 07 बजकर 51 मिनट से रात 09 बजकर 19 मिनट तक और चौथा मुहूर्त रात 10 बजकर 47 मिनट से रात 03 बजकर 12 मिनट तक होगा।
प्रश्न: गणेश चतुर्दशी क्या है?
उत्तर: इस दिन भगवान गणेश जी की पूजा करके लोग बुद्धि, समृद्धि, और सुख-शांति की प्राप्ति के लिए प्रार्थना करते हैं। और अपने घरों में स्थापित गणेश जी की मूर्ति को विदाई देते हैं। और गणेश जी को जल में स्थानांतरित करके विसर्जित कर देते हैं।
प्रश्न: गणेश चतुर्दशी कितने दिन तक मनाया जाता है?
उत्तर: गणेश चतुर्दशी का त्यौहार 10 दिन होता है यह त्यौहार गणेश चतुर्थी से गणेश चतुर्दशी तक मनाया जाता है।